Last updated on July 15th, 2025 at 11:49 am
सोचिए, अगर बेमौसम बारिश आपकी पूरी फसल बर्बाद कर दे? विदर्भ के सोयाबीन किसान रमेश के साथ 2023 में यही हुआ। लेकिन PM Fasal Bima Yojana (PMFBY) की मदद से उन्हें 80% नुकसान भरपाई मिली और वे दोबारा खेती कर पाए। जलवायु अनिश्चितताओं के इस दौर में, अगर आप जानना चाहते हैं PM Fasal Bima Scheme, तो यह पोस्ट आपके लिए है। इसमें आपको योजना की पूरी प्रक्रिया, जरूरी दस्तावेज़, पात्रता और विशेषज्ञों की सलाह के साथ-साथ हर वो जानकारी मिलेगी जो आपकी फसल और जीवन को सुरक्षित रखने में मदद करेगी।
PM Fasal Bima Scheme क्या है?
प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना (PMFBY) साल 2016 में शुरू की गई थी। यह पुरानी कृषि बीमा योजनाओं से ज्यादा अच्छी और सस्ती है। इस योजना का मुख्य उद्देश्य किसानों को प्राकृतिक आपदाओं, कीटों और बीमारियों से होने वाले नुकसान से बचाना है। अगर फसल खराब हो जाती है, तो किसानों को आर्थिक मदद मिलती है, जिससे उन्हें फिर से खेती शुरू करने में आसानी होती है।
इसके अलावा, इस योजना से किसानों को नए बीज, अच्छी खाद और आधुनिक तकनीक अपनाने के लिए प्रोत्साहित किया जाता है। दावा करने की प्रक्रिया भी आसान और पारदर्शी बनाई गई है। किसान मोबाइल या ऑनलाइन तरीके से दावा कर सकते हैं और मुआवजा सीधे उनके बैंक खाते में आ जाता है।
2025 में नए अपडेट्स: फसल बीमा योजना मे क्या बदलाव हुए हैं?
- व्हाट्सएप से इंस्टैंट क्लेम:
- फसल नुकसान की फोटो/वीडियो PMFBY व्हाट्सएप बॉट पर भेजें।
- 72 घंटे में 25% अग्रिम भुगतान (गुजरात और MP में पायलट)।
- AI और ड्रोन से आकलन:
- सैटेलाइट इमेजरी से नुकसान का आकलन, क्लेम प्रोसेस 40% तेज़ (ICAR स्टडी)।
- अतिरिक्त कवर:
- लू और कीट हमले के लिए ऑप्शनल कवर (₹50/हेक्टेयर अतिरिक्त)।
- Rabi 2025–26 तक योजना जारी रहेगी।
- केंद्र और राज्य की सब्सिडी संरचना पहले जैसी रहेगी:
- सामान्य क्षेत्र: 50:50
- पूर्वोत्तर/पहाड़ी क्षेत्र: 90:10
नवीनतम अपडेट (मार्च 2025): सरकार ने PMFBY और इसके वेदर-बेस्ड वर्जन RWBCIS को 2025–26 तक बढ़ा दिया है, जिसके लिए ₹69,515.71 करोड़ का बजट स्वीकृत किया गया है। (Source: Press Information Bureau)
तेजी से क्लेम किसानों को मिलेगा ।
- 14 दिन: स्थानीय आपदा के लिए
- 30 दिन: बड़े पैमाने पर प्राकृतिक आपदा के लिए
- 45 दिन: फसल के मध्य में आने वाली आपदा के लिए
- तकनीकी मूल्यांकन से समय की बचत होगी।
पात्रता (Eligibility)
PM Fasal Bima Scheme, पाने के लिए आपको ये शर्तें पूरी करनी होंगी:
- आप भारत के किसान (स्वामी या बटाईदार) होने चाहिएं।
- लोनी किसान (कर्ज़दार किसान) के लिए यह स्कीम अनिवार्य।
- कवर की जाने वाली फसलें
- खाद्यान्न (गेहूं, चावल), तिलहन, बागवानी फसलें।
- कपास, गन्ना जैसी व्यावसायिक फसलें।
- रबी, खरीफ और ज़ायद सीज़न।
- आपकी फसल और क्षेत्र को सरकार द्वारा अधिसूचित किया गया हो।
- कट-ऑफ डेट से पहले पंजीकरण किया हो:
- खरीफ: 31 मई (राज्य अनुसार बदल सकता है)
- रबी: 31 अक्टूबर
- निर्धारित प्रीमियम समय पर जमा करना होगा।
- स्थानीय राज्य सरकार की दिशा-निर्देशों का पालन आवश्यक है।
टिप्स : अपने राज्य की फसल सूची PMFBY पोर्टल पर चेक करें। महाराष्ट्र और पंजाब जैसे राज्यों में अब ड्रैगन फ्रूट और क्विनोआ भी कवर होते हैं!
PM Fasal Bima Scheme 2025 मे स्टेप- by -स्टेप जाने ।
Step 1 – ज़रूरी दस्तावेज़ तैयार करें और अभी PMFBY के लिए फ़ॉर्म भरे।
दस्तावेज़ का प्रकार | उदाहरण |
---|---|
पहचान प्रमाण | आधार कार्ड, वोटर आईडी, पैन |
पता प्रमाण | बैंक पासबुक, बिजली बिल |
भूमि से संबंधित दस्तावेज | खतौनी, भूमि रिकॉर्ड |
बैंक खाता विवरण | पासबुक की प्रति, IFSC कोड |
फ़ोटो | पासपोर्ट साइज हाल की फ़ोटो |
किसान टिप: बटाईदार किराए के एग्रीमेंट + ज़मीन मालिक की सहमति पत्र दिखा सकते हैं।
स्टेप 2 – आवेदन का तरीका चुनें
माध्यम | कैसे करें? |
---|---|
ऑनलाइन | PMFBY पोर्टल या राज्य कृषि एप से। |
ऑफलाइन | कॉमन सर्विस सेंटर (CSC) या बैंक ब्रांच से। |
आधार-लिंक्ड | लोनी किसानों का ऑटो एनरोलमेंट (e-KYC ज़रूरी)। |
Step 3 – प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना मे ऑनलाइन पंजीकरण के लिए ।
- PMFBY की वेबसाइट पर जाएं: pmfby.gov.in
- “Farmer Corner” पर क्लिक करें।
- नए यूज़र के रूप में “Guest Farmer” चुनें और KYC, बैंक जानकारी भरें।
- लॉग इन कर “Crop Insurance Scheme” चुनें।
- राज्य, फसल, बीमित क्षेत्र चुनें और प्रीमियम ऑनलाइन भरें।
Step 3 – PFBY मे आवेदन ऑफलाइन करने की प्रक्रिया (CSC या बैंक)
- CSC सेंटर: नजदीकी CSC पर जाकर दस्तावेज़ दें। वे आवेदन प्रक्रिया पूरी करेंगे।
- बैंक या एजेंट: संबंधित बैंक में जाकर Form C भरें और दस्तावेज़ जमा करें। बैंक बीमाकर्ता को भेजेगा।
प्रो टिप: पंजीकरण के बाद Application Reference Number जरूर लें, जिससे आप बाद में क्लेम की स्थिति ट्रैक कर सकें।
स्टेप 4: प्रीमियम जमा करें
किसान का प्रकार | प्रीमियम रेट (2025) | सरकारी सब्सिडी |
---|---|---|
छोटे/सीमांत किसान | 1.5% (कवर राशि का) | बाकी सरकार भरेगी। |
अन्य किसान | 2-5% | फसल और राज्य के हिसाब से। |
आखिरी तारीख:
- खरीफ: 31 मई 2025
- रबी: 31 अक्टूबर 2025
तारीख छूट गई? कुछ राज्यों में 30 दिन का ग्रेस पीरियड (+ लेट फी) मिलता है।
आवेदन Online vs. Offline Application: एक नजर में तुलना
पहलू | ऑनलाइन पोर्टल | ऑफलाइन (CSC/बैंक) |
---|---|---|
सुविधा | कहीं से भी, कभी भी | स्थानीय केंद्र |
प्रक्रिया समय | तुरंत पुष्टि | कुछ दिन लग सकते हैं |
शुल्क | कोई अतिरिक्त शुल्क नहीं | CSC सेवा शुल्क लागू हो सकता है |
तकनीकी सहायता | ऐप और पोर्टल सपोर्ट | व्यक्तिगत सहायता |
ये गलतियाँ न करें!
- दस्तावेज़ में नाम मिसमैच:
- आधार, बैंक अकाउंट और ज़मीन के कागज़ात में नाम एक होना चाहिए।
- SMS अलर्ट्स को नज़रअंदाज़:
- PMFBY की अपडेट्स के लिए 56767506 को व्हाइटलिस्ट करें।
- शिकायत न दर्ज कराना:
- क्लेम में देरी होने पर PMFBY शिकायत पोर्टल पर कार्रवाई करें।
उदाहरण: कर्नाटक की लक्ष्मी ने Crop Insurance App से अपनी बोई गई ज़मीन वेरिफाई करके क्लेम रिजेक्शन से बचा।
बीमा दावा कैसे करें?
- नुकसान की जानकारी दें: 72 घंटों के भीतर कृषि विभाग या बीमाकर्ता को सूचित करें।
- दस्तावेज़ जमा करें: पॉलिसी डिटेल्स, नुकसान की वजह और सीमा बताएं।
- CCE (Crop Cutting Experiments): अधिकृत एजेंसी द्वारा उपज का आकलन किया जाता है।
- दावा निपटान:
- स्थानीय आपदा: 14 दिन
- प्राकृतिक आपदा: 30 दिन
- मध्यमकालीन नुकसान: 45 दिन
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✅ हमेशा अपनी सभी रसीद और क्लेम फॉर्म की कॉपी सुरक्षित रखें।
विशेषज्ञ सलाह (Pro Tips)
- जल्दी पंजीकरण करें: कट-ऑफ डेट से पहले आवेदन करें ताकि आपके पास सभी आवश्यक दस्तावेज और जानकारी तैयार हो, जिससे आपका पंजीकरण प्रक्रिया सरल और बिना किसी बाधा के संपन्न हो सके।
- रिकॉर्ड अपडेट रखें: ज़मीन और बैंक की जानकारी पोर्टल पर सही रखें, ताकि सभी संबंधित लेन-देन और दस्तावेज़ आसानी से उपलब्ध रहें और सभी अपडेट की सही निगरानी की जा सके।
- मोबाइल ऐप का उपयोग करें: नोटिफिकेशन के लिए, यह सुनिश्चित करने के लिए कि आप सभी नवीनतम अपडेट और महत्वपूर्ण सूचनाएं समय पर प्राप्त करें।
- अनुकरणीय फॉलो-अप: बीमा कंपनी और कृषि विभाग से विनम्रता से संपर्क में रहें, ताकि सुनिश्चित कर सकें कि सभी आवश्यक जानकारी सही और समय पर प्राप्त हो रही है, साथ ही जिन मुद्दों का समाधान किया जाना है, उनके बारे में भी स्पष्टता बनी रहे।
- स्थानीय अपडेट्स: किसान समूहों या WhatsApp ब्रॉडकास्ट से जुड़े रहें ताकि आप न केवल नवीनतम सूचनाएं प्राप्त कर सकें, बल्कि अपने समुदाय के अन्य सदस्यों के साथ विचारों का भी आदान-प्रदान कर सकें।
निष्कर्ष
किसान भाइयों को इसे समझना बहूत आसान और जरूरी है कि इस PM Fasal Bima Scheme से मिलने वाले लाभ से हम कैसे अपने परिवार और अपनी मेहनत की कमाई को कैसे नुकसान होने पर भी बचा सकते है – सिर्फ इसकी सही जानकारी, दस्तावेज़ और समय पर पंजीकरण की ज़रूरत है। इस लिए जागरूकता के साथ इस अवसर को जाने मत दो ।
👉 अभी आवेदन करें: pmfby.gov.in
अब आपकी बारी है!
अगली बारिश का इंतज़ार न करें। यह पोस्ट 5 किसानों को शेयर करें, या PMFBY पोर्टल बुकमार्क करें। कोई सवाल? कमेंट में पूछें—हम कृषि विशेषज्ञों से जवाब दिलाएँगे!
आपकी फसल देश को खिलाती है। PMFBY 2025 आपकी मेहनत को सुरक्षित करेगी।
NOTE –स्रोत:
- PMFBY ऑफिशियल पोर्टल
- NITI Aayog रिपोर्ट (2024)
- ICAR स्टडी (2023)
- राज्य कृषि अधिकारियों के इंटरव्यू (2024)
नोट: प्रीमियम रेट और डेडलाइन राज्यों में अलग-अलग हो सकते हैं। स्थानीय कृषि कार्यालय से पुष्टि करे
FAQ: PM Fasal Bima Scheme से अक्सर पूछे जाने वाले सवाल
पीएमएफबीवाई योजना क्या है?
यह एक सरकारी फसल बीमा योजना है जो प्राकृतिक आपदाओं से हुई फसल क्षति पर मुआवज़ा देती है।
फसल बीमा के लिए कौन पात्र है?
जो किसान अधिसूचित क्षेत्र में अधिसूचित फसलें उगाते हैं (मालिक या बटाईदार), वे पात्र हैं।
फसल बीमा के क्या फायदे हैं?
यह मौसम, कीट या बीमारी से फसल नुकसान पर आर्थिक सुरक्षा प्रदान करता है।
फसल लोन स्टेटस कैसे चेक करें?
अपनी बैंक की वेबसाइट या शाखा में जाकर फसल लोन की स्थिति देख सकते हैं।
पीएमएफबीवाई के लिए ब्याज दर क्या है?
यह बीमा योजना है, लोन नहीं, इसलिए इसमें ब्याज नहीं, केवल सब्सिडी वाला प्रीमियम होता है।
खरीफ मौसम की अवधि क्या है?
खरीफ सीजन जून से अक्टूबर तक होता है, जब दक्षिण-पश्चिम मानसून आता है।
पीएमएसबीवाई क्या है?
यह एक सरकारी दुर्घटना बीमा योजना है, जो मृत्यु या विकलांगता पर मुआवज़ा देती है।
मैं एस.एम.जे., एक पेशेवर पत्रकार और सामग्री लेखक, आपके समक्ष अपने विचारों और विश्लेषणों को प्रस्तुत करते हुए हर्षित हूँ। मेरे पास पत्रकारिता में स्नातक की डिग्री (मौलाना आजाद नेशनल यूनिवर्सिटी, हैदराबाद) और डिजिटल मीडिया कंटेंट निर्माण में 4 वर्षों का व्यावहारिक अनुभव है।